उत्तम है
परिवर्तन अच्छा है ,लेकिन इतना कि ,.........बेहद ख़ूबसूरत और उम्दा
सार्थक,प्रभावी,और उम्दा रचना है.......शुभकामनाएं।
nice poem,lovely blog.
आपकी पोस्ट की रचनात्मक सौमयता को देखते हुए इसे आज के चर्चा मंमच पर सजाया गया है!http://charchamanch.uchcharan.com/2010/12/369.html
लेकिन प्यार की फुहार में भीगना ही अच्छा लगता है
सत्य कहा...
प्रियंका जी....... बहुत ही प्यारे एहसाह भरे है कविता में... दिल को छू लिए..
उम्दा रचना है.......शुभकामनाएं!
sundar!
खूबसूरत अभिव्यक्ति
आप सभी का बहुत बहुत धन्यबाद !
वाह. परिपक्व मन.
बेहतरीन
बहना अच्छा है , लेकिन इतना कि ,बिना भीगे -दामन साफ़ बच जाये !बहुत प्रभावपूर्ण अभिव्यक्ति.
बेहद ख़ूबसूरत और उम्दा |
सच कहूँ - परिवर्तन अच्छा है !
उत्तम है
ReplyDeleteउत्तम है
ReplyDeleteपरिवर्तन अच्छा है ,
ReplyDeleteलेकिन इतना कि ,
.........बेहद ख़ूबसूरत और उम्दा
सार्थक,प्रभावी,और उम्दा रचना है.......शुभकामनाएं।
ReplyDeletenice poem,
ReplyDeletelovely blog.
आपकी पोस्ट की रचनात्मक सौमयता को देखते हुए इसे आज के चर्चा मंमच पर सजाया गया है!
ReplyDeletehttp://charchamanch.uchcharan.com/2010/12/369.html
लेकिन प्यार की फुहार में भीगना ही अच्छा लगता है
ReplyDeleteसत्य कहा...
ReplyDeleteप्रियंका जी....... बहुत ही प्यारे एहसाह भरे है कविता में... दिल को छू लिए..
ReplyDeleteउम्दा रचना है.......शुभकामनाएं!
ReplyDeletesundar!
ReplyDeleteखूबसूरत अभिव्यक्ति
ReplyDeleteआप सभी का बहुत बहुत धन्यबाद !
ReplyDeleteवाह. परिपक्व मन.
ReplyDeleteबेहतरीन
ReplyDeleteबहना अच्छा है ,
ReplyDeleteलेकिन इतना कि ,
बिना भीगे -
दामन साफ़ बच जाये !
बहुत प्रभावपूर्ण अभिव्यक्ति.
बेहद ख़ूबसूरत और उम्दा |
ReplyDeleteसच कहूँ -
ReplyDeleteपरिवर्तन अच्छा है !